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दुकानों का भर रहे किराया, दो माह से नहीं मिला दवा लाइसेंस

                                           इसके चलते कंपनी ने प्रदेश में अपनी सेवाएं बंद कर दी गई है

काँगड़ा,रिपोर्ट नेहा धीमान 

कांगड़ा और नूरपुर उपमंडल की चारों विधानसभा क्षेत्रों में दवा की दुकान का नया लाइसेंस लेने और ड्रग लाइसेंस के नवीनीकरण का दो माह से ठप पड़ा है। इसके चलते नए ड्रग लाइसेंस लेने और नवीनीकरण करवाने वाले दवा संचालकों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इन सबसे ज्यादा परेशानी उन नए दवा कारोबारी के लिए है, जिन्होंने काम खोलने हेतु दुकानों को किराये पर ले रखा है क्योंकि नए लाइसेंस लेने से पहले संबंधित क्षेत्र के ड्रग इंस्पेक्टर दुकान का निरीक्षण भी करते हैं। जिले में नूरपुर, देहरा, कांगड़ा, पालमपुर और धर्मशाला में दवा निरीक्षक तैनात हैं।

बताया जा रहा है कि सरकार ने दवा दुकान के लाइसेंस की वेबसाइट संचालित करने वाली कंपनी की लंबित राशि का भुगतान नहीं किया है। इसके चलते कंपनी ने प्रदेश में अपनी सेवाएं बंद कर दी गई है। कंपनी की राशि की अदायगी लाखों में बताई जा रही है। जिससे जिले में कई दवा विक्रेताओं के नवीनीकरण का कामकाज ठप पड़ा हुआ है। वेबसाइट से सरकार के पास कितने नए लोग लाइसेंस लेना चाहते है या नवीनीकरण करवाना चाहते हैं, इसका पूरा विवरण आ जाता है। वहीं, बिना वेबसाइट के यह तमाम कार्य जिला कांगड़ा सहित पूरे हिमाचल में लटक गए हैं। दवा दुकान के लाइसेंस की वेबसाइट संचालित करने वाली कंपनी की लंबित राशि का भुगतान न करने से आने वाले समय में दवा विक्रेताओं की दिक्कतें आने वाले समय में और भी बढ़ सकती हैं। उपमंडल नूरपुर के तहत नूरपुर और इंदौरा विधानसभा के तहत आने वाले दवा कारोबारियों के लाइसेंस नूरपुर में बनते हैं। जबकि जवाली और फतेहपुर विधानसभा आदि के लाइसेंस धर्मशाला में बनाए जाते हैं। वहीं, दवा लाइसेंस के नवीनीकरण के बिना पुराने दवा कारोबारियों को भी कारोबार करने में काफी परेशानियों का का सामना करना पड़ रहा है। सहायक ड्रग कंट्रोलर आशीष रैना ने कहा कि वेबसाइट के न चलने से उक्त समस्या पैदा हुई है, इस संबंध में सरकार को अवगत कराया जा चुका है। उम्मीद है कि वेबसाइट जल्द ही शुरू हो जाएगी।





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