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रायपुर सहोड़ा में 12 घंटे तक ठप रही बिजली सप्लाई

                                           जरूरी सेवाओं में शुमार बिजली बोर्ड में हुआ व्यवस्था परिवर्तन

ऊना,ब्यूरो रिपोर्ट 

विद्युत बोर्ड में कर्मचारियों की कमी के चलते विद्युत सप्लाई व्यवस्था पूरी तरह से गड़बड़ा गई है। भीषण गर्मी में दिन में कई बार बिजली कटौती होना आम बात हो गई है। इससे जनता के पसीने छूट रहे हैं। रायपुर सहोड़ा गांव के कुछ वार्डों में बुधवार रात्रि 10 बजे से बंद विद्युत सप्लाई वीरवार सुबह करीब 10 बजे बहाल हो सकी।

रायपुर सहोड़ा विद्युत शिकायत घर के अंतर्गत करीब सात गांवों के घरों को रोशन रखने का जिम्मा विद्युत बोर्ड के महज दो कर्मचारियों के हवाले छोड़ रखा है। जब वर्क लोड कम था तो यहां पर पर्याप्त संख्या में स्टाफ तैनात था। अब वर्कलोड कई गुना बढ़ चुका है तो विभाग ने स्टाफ में कटौती कर रखी है। महज दो कर्मचारी ही कई फीडरों का काम देख रहे हैं। मौजूदा सरकार ने व्यवस्था परिवर्तन करते हुए पांच बजे के बाद दर्ज शिकायत पर काम न करने का फरमान जारी कर रखा है। इससे शाम पांच बजे के बाद ठप हुई विद्युत सप्लाई को बहाल करने के लिए कर्मचारी कार्य नहीं कर पाते हैं। ऐसे में लोगों को गर्मी में राम भरोसे छोड़ दिया जाता है। अगले दिन सुबह कर्मचारियों के ड्यूटी पर आने के बाद ही मरम्मत का कार्य शुरू होता है। 

कई-कई घंटे विद्युत सप्लाई ठप रहती है। मैहतपुर बसदेहड़ा व्यापार मंडल के अध्यक्ष सुभाष ऐरी नोनू ने कहा कि आईटीआई पास बेरोजगारों की फौज सेवाएं देने के लिए तैयार है। विद्युत बोर्ड के आलाधिकारियों को इस समस्या के समाधान के लिए संजीदगी से सरकार के समक्ष अपना पक्ष रखना चाहिए। ऐसा नहीं हो पा रहा है। शिवसेना के प्रांतीय अध्यक्ष शिवदत्त वशिष्ठ ने कहा कि मौजूदा सरकार का यह कैसा व्यवस्था परिवर्तन है कि फील्ड में वर्कलोड बढ़ रहा है और सरकार स्टाफ तैनात नहीं कर रही है। मैहतपुर औद्योगिक क्षेत्र के अध्यक्ष उद्यमी चमन सिंह कपूर ने कहा कि सरकार को आईटीआई पास बेरोजगारों को 10 हजार रुपये महीने पर अस्थायी नियुक्ति देनी चाहिए थी, ताकि विभाग का काम भी चल सके।मैहतपुर विद्युत उपमंडल में सहायक अभियंता कुशल कुमार ने कहा कि स्टाफ की कमी के बावजूद विद्युत सप्लाई बाधित न हो, बोर्ड इसके लिए हर संभव प्रयास कर रहा है। उन्होंने माना कि स्टाफ की कमी को पूरा करने के लिए उच्च स्तर पर कदम उठाए जाने की आवश्यकता है।

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